मुस्लिमों के इलाज न करने के विज्ञापन पर भड़के ओवैसी, पीएम मोदी से बोले Covid-19 धर्म नहीं देखता….
20/04/2020 M RIZWAN
मेरठ के मवाना रोड पर वैलेंटिस कैंसर अस्पताल ने शुक्रवार 17 अप्रैल को कुछ अख़बारों में विज्ञापन दिया कि उनके यहां भर्ती होने वाले मुस्लिम मरीज़ों और तीमारदारों को कोरोना संक्रमण की जांच कराकर और उसकी निगेटिव रिपोर्ट लेकर ही आना होगा। जब ही उनका इलाज होगा।
इस मामले में ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन (AIMIM) के प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी (Asaduddin Owaisi) ने तीखी प्रतिक्रिया दी है। उन्होंने रविवार को अपने आधिकारिक ट्विटर अकाउंट पर लिखा, ‘अगर अस्पताल अपनी नीति के विज्ञापन को लेकर पर्याप्त रूप से आश्वस्त है तो “जांच” किस बात की? उसे जनता को नुकसान पहुंचाने की अनुमति कैसे दी जा रही है? प्रधानमंत्री कार्यालय का कहना है कि “Covid-19 धर्म नहीं देखता है” बावजूद इसके उनके वैचारिक प्रशंसकों ने मुस्लिम नागरिकों को टारगेट कर रहे हैं और उनकी जिंदगी को खतरे में डाल रहे हैं।’
इस मामले में यूपी पुलिस ने अस्पताल के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया है। मेरठ के इंचौली थाना के प्रभारी ब्रजेश कुमार सिंह ने रविवार को बताया कि घटना के संबंध में संबंधित अस्पताल के संचालक अमित जैन के खिलाफ मामला दर्ज कर आवश्यक कार्रवाई की जा रही है।
वही मेरठ के मुख्य चिकित्साधिकारी डॉ. राज कुमार से जब इस बारे में पूछा गया तो उन्होंने कहा, ‘यह गलत है और हम इस मामले में संबंधित अस्पताल प्रशासन को नोटिस भेज रहे हैं। जवाब मिलने पर आगे की कार्रवाई की जाएगी।’ इस बीच, विवाद बढ़ जाने पर वैलेन्टिस कैंसर अस्पताल ने फिर से अखबार में विज्ञापन देकर कहा है, ‘अगर किसी की भावना को तनिक भी ठेस पहुंची हो तो हम क्षमाप्रार्थी हैं।’
वैलेंटिस कैंसर अस्पताल के डॉक्टर अमित जैन ने बताया कि विज्ञापन दरअसल लोगों से सरकार की गाइडलाइन को मानने की अपील के लिए दिया गया था। डॉक्टर अमित के अनुसार, ‘यह विज्ञापन सभी लोगों से अपील के लिए था कि वे सरकार की गाइडलाइन को माने ताकि सब सुरक्षित रहें। इसका धर्म से कोई लेनादेना नहीं है। अगर किसी की भावना इससे आहत हुई है तो हम माफी मांगते हैं। अस्पताल की कभी किसी की भावना को आहत करने की मंशा नहीं थी।